सूर्या 31 की उम्र में कैसे बने स्टार क्रिकेटर: पत्नी को मानते हैं असली कोच, 3 साल फिटनेस सुधारी फिर इंडिया खेल पाए
नई दिल्ली38 मिनट पहले
अंग्रेजी की एक कहावत है – Sky has no limits यानी आकाश की कोई सीमा नहीं होती… इस कहावत का सबसे सटीक उदाहरण टीम इंडिया के बल्लेबाज सूर्यकुमार यादव बने हैं। पिछले एक साल में अपनी बल्लेबाजी से धूम मचाने वाले SKY यानी सूर्या आज की तारीख में दुनिया के सबसे बेहतरीन टी-20 बल्लेबाजों में शुमार होते हैं। उनके पास शॉट्स की ऐसी रेंज है कि उन्हें एबी डिविलियर्स के बाद क्रिकेट का नया मिस्टर 360 कहा जाता है। खास बात यह है कि सूर्या को शोहरत मिलने की शुरुआत उम्र के उस पड़ाव पर हुई जहां पहुंचने पर लोग अकसर यह पूछने लगते हैं कि रिटायर कब होगे?
जी हैं सूर्या ने 31 साल की उम्र में टीम इंडिया के लिए अपना पहला मैच खेला और करीब 1 साल में भारतीय मडिल ऑर्डर की रीढ़ बन गए। इस धाकड़ बल्लेबाज ने इस साल 25 मैच में 41.28 की औसत से 867 रन बनाए हैं और उनका स्ट्राइक रेट 184.86 का रहा है। आखिर सूर्या ने यह सब कैसे हासिल किया? यही जानेंगे इस स्टोरी में।
पहले टी-20 इंटरनेशल क्रिकेट और टी-20 वर्ल्ड कप में सूर्या का रिकॉर्ड देख लीजिए…
12 साल पहले रणजी में डेब्यू किया था
सूर्यकुमार यादव ने 20 साल की उम्र में 2010 में रणजी में डेब्यू किया था। उस मैच में उनके साथ भारतीय कप्तान रोहित शर्मा बल्लेबाजी कर रहे थे। इस मैच में सूर्या ने 73 रनों की पारी खेली और टॉप स्कोरर भी रहे। इसके बाद अगले ही साल 2011-12 के रणजी सीजन में 754 रन जड़कर मुंबई की टीम में अपनी जगह पक्की कर ली और इसके बाद लगातार घरेलू क्रिकेट में रन बनाते रहे।
शार्दूल ठाकुर से लडे़ और कप्तानी छोड़ दी
घरेलू क्रिकेट में सूर्यकुमार यादव की फिटनेस हमेशा सिर दर्द बनी रहती थी। 2014 में उनके साथी खिलाड़ी शार्दूल ठाकुर से लड़ाई हुई थी और अनुशासनहीनता की रिपोर्ट्स आने के बाद उन्होंने 2015 में अचानक घरेलू क्रिकेट में मुंबई की कप्तानी छोड़ दी की।
साथ खेले सभी खिलाड़ी डेब्यू कर कर रहे थे और सूर्या समझ ही नहीं पा रहे थे गलती कहां हो रही
सूर्यकुमार यादव ने 2013 में अंडर-23 एशिया कप खेला था। उनके साथ उस समय अक्षर पटेल, केएल राहुल, जसप्रीत बुमराह खेल चुके थे। ये सभी खिलाड़ी सूर्या से पहले भारतीय टीम के लिए डेब्यू कर चुके थे।
वहीं, सूर्या का नाम चयनकर्ताओं के लिस्ट में ही नहीं आ रहा था।
शादी के बाद बदली किस्मत
2016 में सूर्या की शादी देविशा से हुई और सबकुछ बदल गया। उन्होंने हाल ही में ईएसपीएन क्रिकइन्फो को दिए एक इंटरव्यू में कहा था, ‘2018 तक मेरा चयन जब भारतीय टीम में नहीं हुआ तो मैं काफी परेशान रहने लगा। तब देविशा ने मुझे संभाला उसका कहना था। कि तुम इन सब बातों पर ध्यान नहीं दो बस खुद पर फोकस करो। धीरे-धीरे सब अच्छा होगा।
उसने मुझे कभी फ्रस्टेशन में नहीं आने दिया। सबसे अच्छी बात ये थी कि हम प्रॉब्लम नहीं सोल्यूशन ढूंढते थे कि कैसे मैं और बेहतर कर सकता हूं। वो मुझे केवल अपने भविष्य पर ध्यान देने को कहती और उसे बेहतर बनाने पर जोर देती। मैं जब भी घर पर रहता कभी निराश नहीं हुआ।
सूर्यकुमार यादव ने भारत के लिए 2021 में डेब्यू किया था।
मेरी असली कोच मेरी वाइफ है वो ना होती तो शायद मैं यहां तक नहीं पहुंचता
इस इंटरव्यू में सूर्या ने आगे कहा कि मुझे शादी से पहले तक पता ही नहीं था कि सही डाइट क्या होती है। मुझे जो पसंद आए वो खाता था। चाहे वो बिरयानी हो या फिर आइसक्रीम, लेकिन 2018 से मैं इस ओर ध्यान देने लगा और इसका सार क्रेडिट मेरी पत्नी को जाता है।
जब डाइट ना करने से मेरे शरीर पर असर होने लगा तो मेरी बात देविशा से हुई। उसने मुझे समझाया कि प्रॉपर डाइट फॉलो कर देखते हैं। उसके बाद सब सही हो गया। 2020 आते-आते मेरा शरीर पूरी तरह फिट हो चुका था और इसका पॉजिटव असर मेरी क्रिकेट पर भी दिखने लगा।
सूर्यकुमार यादव और उनकी पत्नी देविशा ने 2016 में शादी की थी।
टीम इंडिया में आने से पहले IPL से बनाई पहचान
IPL 2012 में ही सूर्या को मुंबई इंडियंस ने खरीदा। सूर्या अपने पहले मैच में 0 पर आउट हो गए इसके बाद पूरे सीजन कोई और मैच नहीं मिला। 2013 में वे IPL नहीं खेले। 2014 से 2017 तक वो कुछ खास नहीं कर पाए थे।
फिर लगातार बेहतर होती फिटने से 2018, 2019 और 2020 में उनके खेल में मानो चमत्कार सा हो गया। इन तीन सालों में सूर्या ने 512, 424 और 480 रन बना दिए। 2018 के IPL में वो सबसे महंगे अनकैप्ड खिलाड़ी बने। तब MI ने उन्हें 3.2 करोड़ रुपये में खरीदा था।
2020 से ही वो भारतीय टीम में आने के उम्मीदवार बन गए थे और उन्हें एक साल बाद 2021 में मौका मिला। तब से उन्होंने पीछे मुड़कर नहीं देखा है।
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