यूक्रेन-रूस विवाद का सीधा असर आपकी जेब पर भी: क्रूड ऑयल 8 साल के उच्चतम स्तर पर पहुंचा; घरेलू गैस और CNG भी महंगी होंगी
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नई दिल्ली11 घंटे पहले
यूक्रेन-रूस विवाद के चलते आने वाले दिनों में महंगाई और बढ़ सकती है। इस विवाद के कारण इंटरनेशनल मार्केट में क्रूड ऑयल (कच्चा तेल) का दाम 95 डॉलर प्रति बैरल के पार निकल गया है। ऐसा करीब 8 साल पहले हुआ था। क्रूड ऑयल महंगा होने से आने वाले दिनों में पेट्रोल-डीजल की कीमतें बढ़ना तय माना जा रहा है।
साथ ही इंटरनेशनल मार्केट में नेचुरल गैस की कीमत भी बढ़ रही है। इससे देश के अंदर LPG और CNG की कीमतें भी बढ़ने की पूरी संभावना है। यूक्रेन और रूस विवाद से सोने के दामों को भी सपोर्ट मिल रहा है। इसी का नतीजा है कि ये 50,500 रुपए का लेवल पार कर गया है। इन दोनों देशों के विवाद के चलते कॉपर और एल्यूमीनियम के दामों में भी तेजी देखी जा सकती है।
हम आपको बता रहे हैं कि यूक्रेन-रूस विवाद का आपकी जेब पर क्या असर होगा…
चुनाव के बाद बढ़ सकते हैं पेट्रोल-डीजल के दाम
उत्तर प्रदेश और पंजाब सहित 5 राज्यों में चल रहे विधानसभा चुनाव के बाद आम आदमी को महंगाई के मोर्चे पर बड़ा झटका लग सकता है। विधानसभा चुनाव के नतीजे 10 मार्च को आने हैं। इसके बाद पेट्रोल-डीजल महंगे हो सकते हैं, क्योंकि कच्चे तेल के दाम 8 साल के हाई लेवल पर जा पहुंचे हैं। एक्सपर्ट्स का अनुमान है कि पेट्रोल-डीजल के दामों में 15 से 20 रुपए तक की बढ़ोतरी हो सकती है।
IIFL सिक्योरिटीज के वाइस प्रेसिडेंट (कमोडिटी एंड करेंसी) अनुज गुप्ता कहते हैं कि तेल कंपनियों ने 3 नवंबर से पेट्रोल की कीमतों में कोई बदलाव नहीं किया है, जबकि तब से अब तक कच्चा तेल 15 डॉलर प्रति बैरल से ज्यादा महंगा हो गया है। आगे भी इसमें तेजी जारी रह सकती है। आने वाले समय में अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमत 100 डॉलर प्रति बैरल तक जा सकती हैं। ऐसे में पेट्रोल-डीजल की कीमतों में जल्द ही 15 से 20 रुपए प्रति लीटर तक की बढ़ोतरी हो सकती है। कच्चे तेल के इंटरनेशनल मार्केट में 1 डॉलर प्रति बैरल महंगा होने पर पेट्रोल-डीजल की कीमत में प्रति लीटर 50-60 पैसे तक का इजाफा होता है।
बढ़ सकते हैं नेचुरल गैस के दाम
यूक्रेन-रूस युद्ध के कारण सबसे बड़ा खतरा नेचुरल गैस की सप्लाई चेन के डैमेज होने को लेकर है। दुनिया की कुल नेचुरल गैस उत्पादन में 17% हिस्सा रूस का है। ऐसे में यूक्रेन-रूस विवाद से इसकी सप्लाई प्रभवित हो रही है। इससे वैश्विक स्तर पर गैस की कमी का असर दिखने लगा है और आने वाले दिनों में LPG और CNG की कीमतों में प्रति किलो 10 से 15 रुपए तक की बढ़ोतरी हो सकती है।
51 हजार रुपए के करीब पहुंचा सोना
रूस-यूक्रेन में तनाव के चलते सोना-चांदी में शानदार तेजी देखने को मिल रहा है। सोना एक बार फिर 51 हजार रुपए प्रति 10 ग्राम और चांदी 65 हजार रुपए प्रति किलो के करीब पहुंच गई है। इंडिया बुलियन एंड ज्वैलर्स एसोसिएशन (IBJA) की वेबसाइट के अनुसार, आज यानी मंगलवार को सर्राफा बाजार में सोने का भाव 50,547 रुपए प्रति 10 ग्राम पर है। वहीं, चांदी 64,656 रुपए प्रति किलोग्राम पर है। अंतरराष्ट्रीय बाजार की बात करें तो सोना 1,909.12 अमेरिकी डॉलर प्रति औंस और चांदी 24 डॉलर प्रति औंस के पार निकल गए हैं।
एक्सपर्ट्स का कहना है कि सोने में अभी तेजी की पूरी संभावना है, क्योंकि महंगाई कंट्रोल नहीं हो पा रही है। इंटरनेशनल मार्केट में सोना अगले तीन-चार महीने में 2000 डॉलर के स्तर पर पहुंच सकता है। इससे हमारे यहां सोना 52 हजार रुपए के पार हो सकता है।
एल्यूमीनियम और तांबे के दामों में भी तेजी
दुनिया के कुल एल्यूमीनियम उत्पादन में 6% हिस्सा रूस का है। ऐसे में यूक्रेन और रूस विवाद से इसकी सप्लाई भी प्रभावित हो रही है। फरवरी में ही अब तक इसकी कीमत 15% तक बढ़ चुकी है। इसके अलावा तांबे के कुल उत्पादन में भी 3.5% हिस्सेदारी रूस की है। ऐसे में इसकी कीमतें भी अब बढ़ने लगी हैं। इन दोनों ही धातुओं का इस्तेमाल बर्तन और ऑटो इंडस्ट्री के अलावा कई चीजों में होता है। इससे आने वाले दिनों में इन चीजों की कीमतों में भी और ज्यादा बढ़ोतरी होने की पूरी संभावना है।
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