भास्कर एनालिसिस: दरों में ताजा बढ़ोतरी का असर फिलहाल सीमित, लेकिन दरें और बढ़ीं तो रियल एस्टेट पर असर तय
- Hindi News
- Business
- Bhaskar Analysis The Effect Of The Latest Increase In Rates Is Limited, But If There Is A Further Increase From Here, Then The Effect On Real Estate
मुंबई20 मिनट पहले
- कॉपी लिंक
भारतीय रिजर्व बैंक ने बुधवार को उम्मीद के मुताबिक एक बार फिर रेपो रेट बढ़ा दिया। इसके साथ ही सिर्फ 34 दिन में बैंकों की उधारी लागत 0.90% बढ़ गई। ऊंची ब्याज दरों का सबसे अधिक असर होम लोन पर पड़ता है। हालांकि, फिलहाल होम लोन की मांग पर इस बढ़त का ज्यादा असर नहीं होगा, क्योंकि लोगों की आय में थोड़ा इजाफा हुआ है जो कुशन का काम करेगा। लेकिन आने वाले समय में नीतिगत दरें और बढ़ती हैं तो मांग कमजोर पड़ने लगेगी।
रियल स्टेट सेक्टर में डिमांड घट सकती है
नाइट फ्रैंक इंडिया के चेयरमैन और एमडी शिशिर बैजल कहते हैं, ‘हम उम्मीद करते हैं कि हाल के महीनों में अर्थव्यवस्था पटरी पर लौटना और पारिवारिक आय में बढ़ोतरी ब्याज दरें बढ़ने से पैदा हुए हालात से निपटने में मददगार साबित हाेंगी। लेकिन यदि ब्याज दरों में बढ़ोतरी जारी रहती है तो कंस्ट्रक्शन लागत बढ़ने के चलते प्रॉपर्टी के दाम बढ़ने के बीच लोन महंगा होने से रियल एस्टेट सेक्टर में डिमांड घट सकती है।’
रियल एस्टेट सर्विसेज कंपनी एनरॉक के चेयरमैन अनुज पुरी का मानना है कि देश की अर्थव्यवस्था रेड जोन में जा रही है। इसका मतलब है कि आरबीआई यदि रेपो रेट और बढ़ाता है तो आर्थिक रफ्तार सुस्त पड़ सकती है। रियल एस्टेट सेक्टर ज्यादा प्रभावित होगा। पूरी ने कहा, ‘दरें बढ़ने से होम लोन और महंगे होंगे। मई में अचानक रेपो रेट बढ़ाए जाने के बाद बैंकों ने पहले ही ब्याज दरें बढ़ाना शुरू कर दिया है। मकानों की बिक्री पर इसका विपरीत असर होगा।’
भास्कर एक्सपर्ट- नवीन कुकरेजा, सीईओ और सह-संस्थापक, पैसा बाजार
जिन्होंने पहले से होम लोन ले रखा है, उनके पास तीन विकल्प…
1. जिनका लोन एक्सटर्नल बेंचमार्क से लिंक्ड फ्लोटिंग रेट पर है, उनका ब्याज तब तक नहीं बढ़ेगा जब तक उनके लोन रेट बदलने की रिसेट डेट नहीं आएगी। 2. जिनका लोन फ्लोटिंग रेट पर है, उनकी ईएमआई बढ़ जाएगी। लेकिन जिन्होंने ईएमआई बढ़ाने का विकल्प नहीं चुना है, उनकी लोन अवधि बढ़ेगी। 3. जिन्होंने फ्लोटिंग रेट लोन लिया है, उन्हें लोन का प्री-पेमेंट करना चाहिए। ऐसे लोग लोन टेन्योर भी घटा सकते हैं, ताकि ब्याज पर ज्यादा बचत कर सकें।
अगस्त में भी 0.25% बढ़ सकती हैं दरें
इस बात की पूरी आशंका है कि 4 अगस्त की समीक्षा में आरबीआई रेपो रेट फिर 0.25% बढ़ाएगा। एमके ग्लोबल फाइनेंशियल सर्विसेज की लीड इकोनॉमिस्ट माधवी अरोड़ा के मुताबिक अगली दो तिमाही महंगाई दर 7% से ऊपर रहने की आशंका है। ऐसे में चालू वित्त वर्ष में रेपो दर 0.75% और बढ़ाई जा सकती है।
For all the latest Business News Click Here
For the latest news and updates, follow us on Google News.