कोविड से घटी किफायती मकानों की बिक्री: पहली छमाही में 50 लाख से सस्ते मकानों की मांग कम रही, 50 लाख से 1 करोड़ रुपए तक के मकानों का प्रतिशत बढ़ा
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- Residential Sales Record 67% YoY Increase During January To June 202, New Launches Rise 71% YoY: Knight Frank India
8 घंटे पहले
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- देश के 8 अहम शहरों में सालाना आधार पर 22 से 150% तक का उछाल आया
- देश भर में जनवरी से जून तक मकानों की बिक्री 67% बढ़कर 99,416 यूनिट रही
साल की पहली छमाही में 50 लाख रुपए से कम कीमत के मकानों की बिक्री घटी है। इस बात का जिक्र नाइट फ्रैंक की ‘इंडिया रियल एस्टेट-रेजिडेंशियल, जनवरी-जून 2021’ रिपोर्ट में है। इसके मुताबिक, किफायती मकानों की मांग घटने की वजह कोविड से इकोनॉमी पर बना दबाव है। दूसरी वजह, मकान खरीदने को तैयार बहुत से लोगों का रोजगार लॉकडाउन के चलते छिन जाना है।
किफायती मकानों का प्रतिशत घटने की वजह कोविड
नाइट फ्रैंक के मुताबिक, पहली छमाही में बिके मकानों में किफायती मकानों का प्रतिशत घटने की वजह कोविड से बनी चुनौतियां रही हैं। दरअसल, महामारी के चलते रोजगार खत्म होने, इनकम घटने, महंगाई बढ़ने और दूसरी चुनौतियां पैदा हुईं। इन सबकी वजह से मकान खरीदने के इच्छुक लोगों का अपनी आर्थिक स्थिति पर भरोसा घट गया।
आठ अहम शहरों में 150% तक का उछाल
अगर पहली छमाही में शहरों के हिसाब से मकानों की बिक्री की बात करें, तो देश के आठ अहम शहरों में सालाना आधार पर 22 से 150% तक का उछाल आया है। मकानों की बिक्री को ऑल इंडिया लेवल पर देखने से पता चलता है कि पिछले साल की पहली छमाही के मुकाबले इस साल जनवरी से जून तक मकानों की बिक्री 67% बढ़कर 99,416 यूनिट रही।
मकानों की कुल बिक्री में रहा है मजबूती का ट्रेंड
नाइट फ्रैंक इंडिया के सीएमडी शिशिर बैजल के मुताबिक, ‘कोविड के चलते पिछली चार तिमाहियों में मकान खरीदने की जरूरत को लेकर लोगों की सोच में बड़ा बदलाव आया है। किफायती मकानों की बिक्री में गिरावट को छोड़ दें, तो कुल बिक्री में मजबूती का ट्रेंड रहा है। हालात सामान्य होने पर यह ट्रेंड बना रह सकता है और बिक्री में इजाफा हो सकता है।’
मकानों की बिक्री को मुंबई और पुणे में बढ़ावा मिला
रिपोर्ट के मुताबिक, पहली छमाही में मकानों की बिक्री को मुंबई और पुणे-दो बाजारों में बढ़ावा मिला। नाइट फ्रैंक के मुताबिक, देश के अहम प्रॉपर्टी मार्केट में होने वाली मकानों की बिक्री में दोनों बाजारों का हिस्सा 45% रहा। मकानों की बिक्री को बढ़ावा सीमित समय के लिए महाराष्ट्र सरकार की तरफ से स्टांप ड्यूटी में दी गई कम रेट की छूट से मिला।
चार बड़े शहरों में कीमत जस की तस रही है
नाइट फ्रैंक के मुताबिक, बिक्री में बढ़ोतरी की वजह पिछले साल मकानों की कीमत में आई गिरावट रही है। आठ में से चार बड़े शहरों में मकानों की कीमत पहली छमाही में सालाना आधार पर मामूली तौर पर घटी है या जस की तस रही है। बिक्री बढ़ाने के लिए डेवलपर ने फ्लेक्सिबल पेमेंट स्कीम ऑफर कीं, लेकिन डायरेक्ट डिस्काउंट कम रहे।
हैदराबाद में नए मकानों की लॉन्चिंग सबसे ज्यादा
दूसरी तरफ इस साल की पहली छमाही में नए रेजिडेंशियल मकानों की लॉन्चिंग सालाना आधार पर 71% बढ़ी है। इसमें दिलचस्प बात यह है कि इस मोर्चे पर आगे रहने वाले बाजारों में मुंबई और पुणे जैसे बाजार नहीं हैं। रिपोर्ट के मुताबिक, हैदराबाद, कोलकाता, अहमदाबाद और दिल्ली-NCR में नए मकानों की लॉन्चिंग सालाना आधार पर सबसे ज्यादा रही।
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