NCAER का ग्रोथ एस्टीमेट RBI से एक तिहाई कम: जून तिमाही में 11.5% रह सकती है GDP ग्रोथ, रिजर्व बैंक ने दिया है 18.5% ग्रोथ का अनुमान
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4 घंटे पहले
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अप्रैल से जून तक चलने वाली तिमाही में देश की आर्थिक वृद्धि दर 11.5% रह सकती है। यह अनुमान नेशनल काउंसिल ऑफ अप्लाइड इकोनॉमिक रिसर्च (NCAER) ने दिया है। यह भारतीय रिजर्व बैंक के अनुमान से एक तिहाई कम है। RBI ने इस वित्त वर्ष की पहली तिमाही में ग्रोथ रेट 18.5% रहने की बात कही है।
नॉन प्रॉफिट थिंक टैंक NCAER ने शुक्रवार को जारी तिमाही समीक्षा में मौजूदा वित्त वर्ष GDP ग्रोथ 8.4 से 10.1% के बीच रहने का अनुमान दिया है। उसका कहना है कि अगर कोविड की तीसरी लहर चलती है, तो इस वित्त वर्ष में GDP ग्रोथ 8.4% तक रहेगी।
NCAER ने अपने अनुमान में देश को दो साल की इकोनॉमिक ग्रोथ का नुकसान होने की भी बात कही है। इस नॉन प्रॉफिट थिंक टैंक के मुताबिक, रियल GDP वित्त वर्ष 2022 में 146 लाख करोड़ रुपए तक रह सकती है। वित्त वर्ष 2020 में भारत की रियल GDP इतनी ही थी।
थिंक टैंक ने कोविड के असर के बावजूद इस वित्त वर्ष खर्च बढ़ाने के बजाय कम रखने के लिए सरकार की आलोचना की है। उसका कहना है कि इकोनॉमिक रिकवरी को बढ़ावा देने के लिए सरकार को खर्च बढ़ाने की जरूरत है, जबकि वह उलटे कदम उठा रही है।
NCAER के सुदीप्तो मंडल ने एक वर्चुअल कॉन्फ्रेंस में कहा कि सरकार ने 2022 के बजट में फिस्कल पॉलिसी के मोर्चे पर उलटे कदम उठाए हैं। उनके मुताबिक, सरकार ने हाल में कुछ मदों में खर्च बढ़ाने का ऐलान किया है, लेकिन वह अब भी पिछले साल के मुकाबले कम खर्च कर रही है।
थिंक टैंक का मानना है कि सरकार मौजूदा वित्त वर्ष में राजकोषीय घाटे को GDP के 7.2% तक लाने की कोशिश में जुटी है। वित्त वर्ष 2021 में देश का राजकोषीय घाटा 9.2% रहा था।
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