महंगाई के मोर्चे पर थोड़ी राहत: थोक महंगाई दर लगातार दूसरी महीने घटकर जुलाई में 11.16% रही, खाने के चीजें सस्ती होने से मिली राहत
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मुंबई13 घंटे पहले
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होलसेल प्राइस इंडेक्स (WPI) बेस्ड थोक महंगाई दर के आंकड़े आ गए हैं। कॉमर्स एंड इंडस्ट्री मिनिस्ट्री के मुताबिक जुलाई में थोक महंगाई दर 11.16% रही, जो कि जून में 12.07% थी। दरों में यह लगातार दूसरे महीने गिरावट आई है, जबकि दर का आंकड़ा लगातार तीसरे महीने डबल डिजिट में रहा।
खाने-पीने की चीजें सस्ती होने से महंगाई से मिली राहत
थोक महंगाई में गिरावट की सबसे बड़ी वजह खाने-पीने के आइटम के भाव में गिरावट है। जुलाई 2021 का आंकड़ा साल भर पहले की समान अवधि की तुलना में -0.25% कम है। मंत्रालय ने अपने बयान में कहा कि जुलाई में थोक महंगाई दर डबल डिजिट में है, क्योंकि क्रूड पेट्रोलियम और नेचुरल गैस के भाव बढ़े हैं। साथ ही पिछले साल के मुकाबले फूड प्रोडक्ट्स, टैक्सटाइल्स और केमिकल्स समेत मैन्युफैक्चर्ड प्रोडक्ट्स जैसे बेसिक मेटल के दाम भी बढ़े हैं।
जारी आंकड़ों के मुताबिक क्रूड पेट्रोलियम और नेचुरल गैस जुलाई में 40.28% महंगे हुए, जो कि जून में 36.34% महंगा हुआ था। फूड आर्टिकल्स की बात करें तो यह लगातार तीसरे महीने सस्ता हुआ है। जबकि प्याज के दाम 72.01% बढ़े हैं।
महंगाई पर काबू करने के लिए RBI ने नहीं बदले दर
पिछले हफ्ते ही RBI ने महंगाई दर पर काबू रखने के लिए नीतिगत दरों को जस का तस रखने का फैसला किया। अभी रेपो रेट 4% और रिवर्स रेपो रेट 3.35% है। रिजर्व बैंक ने 2021-22 के लिए रिटेल महंगाई दर 5.7% रहने का अनुमान दिया है। पहले 5.1% रहने का अनुमान दिया था। खुदरा महंगाई दर जुलाई में 5.59% रही। यह मई और जून में 6% के ऊपर रही थी।
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