देश में पेट्रोल-डीजल का संकट: कई राज्यों में पेट्रोल पंप सूखने की खबर; सरकार और तेल कंपनियां बोली- घबराएं नहीं, सप्लाई नॉर्मल है
नई दिल्ली18 मिनट पहले
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क्या भारत में पेट्रोल-डीजल की कमी हो गई है? यह सवाल इसलिए पूछा जा रहा है क्योंकि बीते कुछ दिनों से देश में पेट्रोल पंपों के ड्राय होने की खबरें आ रही हैं। राजस्थान, पंजाब, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, गुजरात और मध्य प्रदेश जैसे राज्यों में पेट्रोल पंपों पर लंबी कतारें देखी गई हैं। एक तरफ जहां पेट्रोलियम डीलर्स का दावा है कि BPCL और HPCL जैसी ऑयल मार्केटिंग कंपनियों ने फ्यूल सप्लाई कम कर दी है और मांग का केवल एक चौथाई तेल उपलब्ध करा रही है तो वहीं सरकार और तेल कंपनियों का दावा है कि देश में ईंधन की कोई कमी नहीं है।
सरकार ने कहा, कुछ राज्यों में डिमांड में इजाफा
इस मामले पर पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्रालय ने बुधवार को बयान जारी किया। उसमें कहा गया कि देश में पेट्रोल और डीजल की कमी नहीं है। हालांकि मंत्रालय ने ये भी माना कि राजस्थान, मध्य प्रदेश और कर्नाटक जैसे कुछ राज्यों में विशिष्ट स्थानों पर पेट्रोल और डीजल की मांग में इजाफा हुआ है। मंत्रालय ने कहा, पेट्रोल-डीजल का उत्पादन मांग में तेजी को पूरा करने के लिए पर्याप्त है। वहीं मांग में बढ़ोतरी का कारण एग्रीकल्चरल एक्टिविटीज को बताया गया है। तेल कंपनियों ने डिपो और टर्मिनलों पर स्टॉक बढ़ाकर इस समस्या से निपटने के लिए कमर कस ली है।
तेल कंपनियों का उपलब्धता सामान्य होने का दावा
इंडियन ऑयल कॉरपोरेशन के डायरेक्टर (मार्केटिंग) वी सतीश कुमार ने ट्वीट किया, ‘डियर कस्टमर, हमारे रिटेल आउटलेट पर प्रोडक्ट की उपलब्धता बिल्कुल सामान्य है। हम आपसे अनुरोध करते हैं कि घबराएं नहीं।’ भारत पेट्रोलियम ने भी कहा, ‘हम सभी को आश्वस्त करते हैं कि हमारे पूरे नेटवर्क में हमारे सभी फ्यूल स्टेशन्स पर पर्याप्त मात्रा में प्रोडक्ट उपलब्ध है। इसलिए घबराने की जरूरत नहीं है।’
हिंदुस्तान पेट्रोलियम ने भी इस मामले पर ट्वीट कर लोगों से नहीं घबराने की अपील की है। कंपनी ने कहा, ‘HPCL देश की लगातार बढ़ती फ्यूल डिमांड को पूरा कर रहा है और सप्लाई चेन में प्रोडक्ट की उपलब्धता का आश्वासन देता है। ग्राहकों को घबराने की जरूरत नहीं है। मार्केट में जहां भी हमारे फ्यूल स्टेशन्स है वहां हम ऑटो फ्यूल की अनइंटरप्टेड सप्लाई के लिए कमिटेड हैं।’
एक्सपर्ट ने क्या कहा?
एनर्जी एक्सपर्ट नरेंद्र तनेजा ने कहा, हमारे देश में ऑयल की कोई कमी नहीं है, इसलिए इसमें घबराने वाली कोई बात नहीं है। भारत के पास ऑयल प्रड्यूसिंग कंपनियों को देने के लिए पर्याप्त मात्रा में डॉलर उपलब्ध है। तेल कंपनियों को तेल बेचने पर घाटे वाली बात भी सही नहीं है।
कई राज्यों में फ्यूल शॉर्टेज की खबर
राजस्थान में 1000 से ज्यादा पंप सूखे
बीते दिन राजस्थान से खबर आई थी कि यहां डीजल-पेट्रोल सप्लाई की अघोषित कटौती से 1,000 से ज्यादा पंप सूख चुके हैं। राजस्थान पेट्रोलियम डीलर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष सुनीत बगई ने कहा, प्रदेश के पेट्रोल पंप सिर्फ IOCL के भरोसे चल रहे हैं। क्योंकि HPCL और BPCL ने पेट्रोल और डीजल की सप्लाई बिल्कुल कम कर दी है। ऐसे ही हालात रहे तो पेट्रोल पंप बंद करने पड़ेंगे। पूरी खबर पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें…
मध्य प्रदेश में सप्लाई नॉर्मल करने की मांग
मप्र में कई पेट्रोल पंप सूखे पड़े हैं। इससे पेट्रोल पंप मालिकों के साथ-साथ आम लोग भी परेशान हैं। पेट्रोल पंप मालिकों ने सरकार से तेल की सप्लाई सामान्य करवाने की मांग की है। पेट्रोल पंप एसोसिएशन के अध्यक्ष अजय सिंह ने कहा, तेल कंपनियों ने पेट्रोल-डीजल की सप्लाई 40% तक कम कर दी है। इस वजह से पेट्रोल पंपों पर पेट्रोल-डीजल पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध नहीं हो पा रहा है। पूरी खबर पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें…
गुजरात में अचानक लगी वाहनों की कतार
गुजरात के शहर अहमदाबाद में बीते दिनों अचानक पेट्रोल पंपों पर वाहनों की कतार लग गई। सऊदी अरब से कच्चे तेल की सप्लाई रोके जाने की अफवाह के कारण शहर भर के पेट्रोल पंपों पर लोग देर रात गाड़ियों में तेल भरवाने पहुंचें। अचानक सैकड़ों वाहनों के आने से पंपों की व्यवस्था गड़बड़ हो गई और उन्हें इसे बंद करना पड़ा। सूरत से भी पेट्रोल-डीजल के खत्म होने की खबरें आ रही है। पूरी खबर पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें…
अहमदाबाद के कारगिल पेट्रोल पंप पर फ्यूल शॉर्टेज शॉर्टेज
पंजाब के माझा-दोआबा में 50 पेट्रोल पंप बंद
पंजाब में भी कई पंप के बंद होने की खबरें आई थी। तेल कंपनियों से पेट्रोल-डीजल की सप्लाई नहीं होने से शनिवार को पंजाब के माझा और दोआबा क्षेत्र के करीब 50 पेट्रोल पंप बंद रहे। इसके अलावा कई अन्य पेट्रोल पंपों पर 5-6 घंटे तक तेल नहीं मिला। इस कारण वाहन चालकों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ा। हालांकि रविवार को यहां स्थिति सामान्य हो गई।
हिमाचल प्रदेश में 3 दिन में तेल की सप्लाई
हिमाचल प्रदेश के सिरमौर, पांवटा साहिब नाहन, खादरी, रेणुकाजी समेत कुछ शहरों में ईंधन का संकट पैदा हो गया है। कुछ पंप खाली हो गए तो किसी में थोड़ा बहुत ईंधन बचा है। शिमला के एक पेट्रोल पंप संचालक सुरेंद्र सिंह ने कहा पिछले कुछ दिनों से पेट्रोल-डीजल की उपलब्धता में काफी समस्या है क्योंकि तेल कंपनियां तीन दिनों में इसकी आपूर्ति कर रही हैं। पूरी खबर पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें…
उत्तराखंड में अफवाह से लगी वाहनों की कतार
गुजरात की ही तरह की अफवाहों के बाद उत्तराखंड में भी पेट्रोल पंपों पर सैकड़ों दोपहिया और चार पहिया वाहन ईधन भरवाने के लिए उमड़ पड़े। देहरादून के डीएम आर राजेश कुमार ने कहा कि पेट्रोल-डीजल की किल्लत की अफवाहों के चलते देर रात वाहनों में ईंधन भरने के लिए वाहनों की लंबी कतार लग गई। इस मामले की जांच शुरू कर दी है और अफवाह फैलाने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई के आदेश दिए हैं।
उत्तराखंड में पेट्रोल डीजल की शॉर्टेज होने की खबरों के बाद पेट्रोल पंपों पर लंबी लाइन लग गई
इसके अलावा भी और कई राज्य है जहां से पेट्रोल-डीजल के शॉर्टेज की खबरें आई है।
पेट्रोल-डीजल शॉर्टेज के कारण
- इसका प्रमुख कारण केंद्र सरकार की ओर से एक्साइज ड्यूटी में कटौती को बताया जा रहा है। पिछले महीने 21 मई को केंद्र सरकार ने तेल के बढ़ते दामों से आम जन को राहत देते हुए पेट्रोल-डीजल पर एक्साइज ड्यूटी घटा दी थी। एक्साइज ड्यूटी में कटौती के बाद पेट्रोल-डीजल की आपूर्ति करने में तेल कंपनियों को घाटा हो रहा है, जिसकी वजह से उन्होंने सप्लाई कम कर दी है।
- अंतरराष्ट्रीय बाजार में क्रूड ऑयल की कीमतों में लगातार बढ़ोतरी हो रही है। लेकिन महंगाई बढ़ने के दबाव में सरकार पेट्रोल डीजल की कीमतों में बढ़ोतरी नहीं होने दे रही है। इसलिए तेल कंपनियों का घाटा लगातार बढ़ता जा रहा है। यही कारण है कि जानबूझकर तेल की सप्लाई कम करके घाटे को कम करने के प्रयास किए जा रहे हैं।
- एक मीडिया रिपोर्ट में सूत्रों के हवाले से कहा गया है कि, ‘इस बात की संभावना हो सकती है कि कंपनियां पंप मालिकों पर अपना बकाया चुकाने के लिए दबाव डाल रही हों। जो पंप मालिक अपना बकाया नहीं चुका रहे हैं उस क्षेत्र में सप्लाई कम की जा रही है। कंपनियां नकद भुगतान पर तेल उपलब्ध करवा रहीं है।
आप तक कैसे पहुंचता है पेट्रोल-डीजल
- भारत अपनी जरूरत का 85% से ज्यादा पेट्रोलियम पेट्रोल इम्पोर्ट करता है। यानी, दूसरे देश से खरीदता है।
- विदेशों से आने वाला कच्चा तेल रिफाइनरी में जाता है, जहां से पेट्रोल, डीजल और दूसरे पेट्रोलियम प्रोडक्ट निकाले जाते हैं।
- इसके बाद ये तेल कंपनियों के पास जाता है। जैसे- इंडियन ऑयल, हिंदुस्तान पेट्रोलियम। यहां से ये अपना मुनाफा बनाती हैं और पेट्रोल पंप तक पहुंचाती हैं।
- पेट्रोल पंप पर आने के बाद पेट्रोल पंप का मालिक अपना कमीशन जोड़ता है। केंद्र और राज्य सरकारों की ओर से लगने वाला टैक्स जोड़कर उस कीमत में आपको दे देता है।
बीते दिनों केंद्र सरकार ने घटाया था एक्साइज
केंद्र सरकार ने जनता को राहत देने के लिए 21 मई को पेट्रोल पर प्रति लीटर 8 रुपए और डीजल पर प्रति लीटर 6 रुपए एक्साइज ड्यूटी में कोटौती की थी। इससे पेट्रोल 9.50 रुपए और डीजल 7 रुपए प्रति लीटर सस्ता हो गया था। सरकार पेट्रोल पर 27.90 और डीजल पर 21.80 रुपए एक्साइज ड्यूटी के रूप में वसूलती थी। इस कटौती के बाद पेट्रोल पर 19.90 और डीजल पर 15.80 रुपए एक्साइज ड्यूटी रह गई।
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