बेंगलुरू2 मिनट पहले
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1983 में अपने ऑलराउंडर प्रदर्शन से भारत को वर्ल्ड चैंपियन बनाने वाले रोजर बिन्नी BCCI के 36वें अध्यक्ष बनें। उन्हें निर्विरोध चुना गया। 67 साल के बिन्नी पूर्व भारतीय कप्तान सौरव गांगुली की जगह लेंगे। हम आपको बता रहे हैं रोजर बिन्नी के बारे में सब कुछ…
पहले कुछ प्वाइंट में जानिए शुरुआती करियर…
- बेंगलुरू में हुआ था जन्म: 67 साल के रोजर बिन्नी भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व खिलाड़ी है। इनका जन्म कर्नाटक के बेंगलुरु में हुआ था। बिन्नी भारतीय क्रिकेट टीम में खेलने वाले पहले एंग्लो-इंडियन प्लेयर बने।
- 1977 में कर्नाटक के खिलाफ 211 रन की पारी खेली: रोजर बिन्नी ने 1977 में कर्नाटक टीम के लिए केरल के खिलाफ 211 रन बनाए थे। इसके बाद उनका नाम डोमेस्टिक क्रिकेट में चलने लगा।
- 1979 में पाक के खिलाफ डेब्यू किया था: बिन्नी ने बेंगलुरू के चिन्नास्वामी स्टेडियम पाकिस्तान के खिलाफ नेशनल टीम के लिए डेब्यू किया।
- 27 टेस्ट और 72 वनडे खेले: बिन्नी ने भारतीय टीम के लिए 27 टेस्ट और 72 वन-डे गेम खेले। रोजर बिन्नी ने अपना आखिरी मैच 9 अक्टूबर 1987 में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ खेला।
- पहले मैच में तीन विकेट झटके: बिन्नी ने मुंबई में पाकिस्तान के खिलाफ अपने तीसरे टेस्ट मैच की पहली पारी में माजिद खान, जहीर अब्बास और जावेद मियांदाद को शुरूआती ओवर्स में ही आउट कर दिया। उनकी शानदार बॉलिंग के खातिर भारत ने 131 रनों से मैच जीत लिया।
1983 वर्ल्ड कप में रहे सबसे सफल बॉलर
रोजर बिन्नी (ऊपर दाएं से तीसरे) ने 1983 वर्ल्ड कप में मुख्य प्लेयर की भूमिका निभाई थी।
रॉजर बिन्नी 1983 में भारतीय क्रिकेट टीम के हिस्सा थे। उन्होंने टीम में अहम् भूमिका निभाई। बिन्नी वर्ल्ड कप में हाईएस्ट विकेट टेकर यानी सबसे ज्यादा विकेट लेने वाले प्लेयर बने। बिन्नी ने टूर्नामेंट में 18 विकेट लिए।
2000 में भारत को अंडर-19 कप दिलाया
रोजर बिन्नी ने भारतीय अंडर-19 टीम में युवराज सिंह और मोहम्मद कैफ जैसे प्लेयर्स को कोचिंग दी।
रॉजर बिन्नी ने भारतीय क्रिकेट में कई पद संभाले है। साल 2000 में बिन्नी ने भारतीय अंडर-19 क्रिकेट टीम को कोच के रूप में वर्ल्ड कप जिताया। इसके बाद 2007 में बिन्नी पश्चिम बंगाल की टीम के हेड कोच बने। कर्नाटक क्रिकेट एसोसिएशन की मैनेजमेंट टीम का हिस्सा होने के बाद 2012 में रोजर बिन्नी भारतीय क्रिकेट टीम के सिलेक्टर बने। 2015 वर्ल्ड कप में रोजर बिन्नी सिलेक्टर्स पैनल का हिस्सा थे।
पिता की राह पर चला बेटा
सिलेक्शन पैनल में जब भी स्टुअर्ट का नाम आता था तब रोजर बाहर चले जाते थे।
रोजर बिन्नी की ग्लोरी देखने के बाद उनके बेटे स्टुअर्ट बिन्नी भी उनके नक्शे कदमों पर चले। स्टुअर्ट बिन्नी ने अपने पिता की तरह ऑल राउंडर के रूप में ही अपना क्रिकेट करियर बनाया। स्टुअर्ट बिन्नी IPL में मुंबई, बैंगलोर और राजस्थान की टीम से खेले। साथ ही स्टुअर्ट ने भारतीय क्रिकेट टीम के लिए 6 टेस्ट,14 वन-डे और 3 T-20 मैच खेले।
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